2जी घोटाले में सुप्रीम कोर्ट के अहम फैसले पर सरकार और विपक्ष आमने-सामने हो गए हैं। कोर्ट के फैसले पर प्रतिक्रिया देते हुए संचार मंत्री कपिल सिब्बल ने भाजपा को आड़े हाथ लिया तो प्रमुख विपक्षी दल ने सरकार पर जमकर पलटवार किया। सिब्बल ने कहा कि स्पेक्ट्रम आवंटन के लिए न तो पी. चिदंबरम और न ही पीएम मनमोहन सिंह जिम्मेदार हैं। उन्होंने चिदंबरम पर आरोप लगाने और उनका इस्तीफा मांगने के लिए एनडीए खासकर बीजेपी को माफी मांगने की नसीहत दे डाली। सिब्बल ने कहा, ‘सरकार कोर्ट के आदेश का सम्मान करती है। ट्राई को 2जी स्पेक्ट्रम की नए सिरे से नीलामी के लिए गाइडलाइन तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं। हम ट्राई की सिफारिशों का इंतजार कर रहे हैं।’
सिब्बल ने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि कोर्ट के ताजा फैसले से कई मसलों पर स्थिति साफ हो गई। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि देश में स्पेक्ट्रम का आवंटन केवल नीलामी से ही होना चाहिए। ‘पहले आओ, पहले पाओ’ की नीति की शुरुआत से ही गलत थी जो 2003 में (तत्कालीन एनडीए सरकार के कार्यकाल में) लागू की गई थी। संचार मंत्री ने चिदंबरम का बचाव करते हुए कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने भी माना है कि पीएम और चिदंबरम इस मामले में जिम्मेदार नहीं हैं। सिब्बल के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में साफ कहा है कि संचार मंत्री ने तत्कालीन वित्त मंत्री (चिदंबरम) की सिफारिश नहीं मानी थी।
हालांकि भाजपा प्रवक्ता रविशंकर प्रसाद ने सिब्बल पर प्रेस कांफ्रेंस में देश की जनता को गुमराह करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला अभी तक अदालत की वेबसाइट पर उपलब्ध नहीं है जिसका हवाला देकर सिब्बल चिदंबरम और पीएम को बेगुनाह ठहरा रहे हैं। प्रसाद ने चिदंबरम के इस्तीफे की मांग करते हुए कहा कि उन्हें सरकार में बने रहने का हक नहीं है। उन्होंने सिब्बल से देश की जनता से माफी मांगने को कहा।
माकपा ने भी केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए सिब्बल का इस्तीफा मांगा और पीएम से जवाब देने की मांग की है। तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जयललिता ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है। वहीं गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि आज के फैसले के बाद सरकार को सत्ता में रहने का कोई अधिकार नहीं है। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि कांग्रेस पूरे तौर पर केंद्र में सरकार चलाने का अपना नैतिक आधार खो चुकी है।
'घोटाले की 60 फीसदी रकम सोनिया के पास'
इस बीच, एक टीवी चैनल के साथ बातचीत में जनता पार्टी अध्यक्ष सुब्रमण्यम स्वामी ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि 2 जी मामले में 60 फीसदी रकम सोनिया गांधी ने लिया है और इसका सबूत उनके पास है। 2जी मामले में कोर्ट का दरवाजा खटखटाने वाले स्वामी ने समय आने पर अदालत में सबूत पेश करने का भी दावा किया। कपिल सिब्बल के बारे में स्वामी ने कहा, ‘ वह तो बेशर्म हैं। सबसे पहले उन्हें इस्तीफा देना चाहिए और कानून की पढ़ाई फिर से करने के लिए कॉलेज ज्वाइन करना चाहिए।’ स्वामी ने केंद्रीय कानून मंत्री सलमान खुर्शीद के भी इस्तीफे की मांग की।
सुप्रीम कोर्ट का फैसला (विस्तार से पढ़ने के लिए रिलेटेड लिंक पर क्लिक करें) आने के बाद सत्ता के गलियारों में हलचल तेज हो गई है। कोर्ट का फैसला आते ही सरकार में हड़कंप मच गया है। शीर्ष अदालत के आदेश पर विचार-विमर्श के लिए पीएम आवास पर कैबिनेट की मीटिंग हुई। इसमें चिदंबरम भी शामिल हुए। कैबिनेट की मीटिंग के बाद कांग्रेस कोर ग्रुप की बैठक हुई। इसमें मनमोहन सिंह ने प्रणब मुखर्जी, ए के एंटनी, चिदंबरम और सिब्बल से बात की।
सिब्बल ने प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि कोर्ट के ताजा फैसले से कई मसलों पर स्थिति साफ हो गई। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि देश में स्पेक्ट्रम का आवंटन केवल नीलामी से ही होना चाहिए। ‘पहले आओ, पहले पाओ’ की नीति की शुरुआत से ही गलत थी जो 2003 में (तत्कालीन एनडीए सरकार के कार्यकाल में) लागू की गई थी। संचार मंत्री ने चिदंबरम का बचाव करते हुए कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने भी माना है कि पीएम और चिदंबरम इस मामले में जिम्मेदार नहीं हैं। सिब्बल के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में साफ कहा है कि संचार मंत्री ने तत्कालीन वित्त मंत्री (चिदंबरम) की सिफारिश नहीं मानी थी।
हालांकि भाजपा प्रवक्ता रविशंकर प्रसाद ने सिब्बल पर प्रेस कांफ्रेंस में देश की जनता को गुमराह करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला अभी तक अदालत की वेबसाइट पर उपलब्ध नहीं है जिसका हवाला देकर सिब्बल चिदंबरम और पीएम को बेगुनाह ठहरा रहे हैं। प्रसाद ने चिदंबरम के इस्तीफे की मांग करते हुए कहा कि उन्हें सरकार में बने रहने का हक नहीं है। उन्होंने सिब्बल से देश की जनता से माफी मांगने को कहा।
माकपा ने भी केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए सिब्बल का इस्तीफा मांगा और पीएम से जवाब देने की मांग की है। तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जयललिता ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है। वहीं गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि आज के फैसले के बाद सरकार को सत्ता में रहने का कोई अधिकार नहीं है। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि कांग्रेस पूरे तौर पर केंद्र में सरकार चलाने का अपना नैतिक आधार खो चुकी है।
'घोटाले की 60 फीसदी रकम सोनिया के पास'
इस बीच, एक टीवी चैनल के साथ बातचीत में जनता पार्टी अध्यक्ष सुब्रमण्यम स्वामी ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि 2 जी मामले में 60 फीसदी रकम सोनिया गांधी ने लिया है और इसका सबूत उनके पास है। 2जी मामले में कोर्ट का दरवाजा खटखटाने वाले स्वामी ने समय आने पर अदालत में सबूत पेश करने का भी दावा किया। कपिल सिब्बल के बारे में स्वामी ने कहा, ‘ वह तो बेशर्म हैं। सबसे पहले उन्हें इस्तीफा देना चाहिए और कानून की पढ़ाई फिर से करने के लिए कॉलेज ज्वाइन करना चाहिए।’ स्वामी ने केंद्रीय कानून मंत्री सलमान खुर्शीद के भी इस्तीफे की मांग की।
सुप्रीम कोर्ट का फैसला (विस्तार से पढ़ने के लिए रिलेटेड लिंक पर क्लिक करें) आने के बाद सत्ता के गलियारों में हलचल तेज हो गई है। कोर्ट का फैसला आते ही सरकार में हड़कंप मच गया है। शीर्ष अदालत के आदेश पर विचार-विमर्श के लिए पीएम आवास पर कैबिनेट की मीटिंग हुई। इसमें चिदंबरम भी शामिल हुए। कैबिनेट की मीटिंग के बाद कांग्रेस कोर ग्रुप की बैठक हुई। इसमें मनमोहन सिंह ने प्रणब मुखर्जी, ए के एंटनी, चिदंबरम और सिब्बल से बात की।
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