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anna hazare amitabh bachchan |
यह विवाद हिन्दी की एक साहित्यिक पत्रिका को फाजली के भेजे पत्र के बाद शुरू हुआ जिसमें उन्होंने कहा था कि ‘एंग्री यंग मैन’ की छवि लेखक सलीम जावेद ने गढ़ी थी जिस तरह कसाब को आतंकवादी हाफिज मोहम्मद सईद ने बनाया था।
फाजली ने कहा कि मैने कभी अमिताभ को आतंकवादी नहीं कहा। मेरे बयान को सनसनी फैलाने के लिए तोड़ मरोड़कर पेश किया और नया विवाद पैदा कर दिया। मैने एंग्री यंग मैन की छवि के बारे में बयान दिया था, अमिताभ के बारे में नहीं।
उन्होंने कहा कि अमिताभ बेहतरीन कलाकार हैं और बहुमुखी प्रतिभा के धनी है। हर कलाकार की तरह हालांकि उनकी भी सीमाएं हैं।
फाजली ने पत्र में लिखा था, 'अमिताभ को एंग्री यंग मैन की उपाधि से क्यों नवाजा गया। वह तो केवल अजमल कसाब की तरह गढ़ा हुआ खिलौना है। एक को हाफिज मोहम्मद सईद ने बनाया और दूसरे को सलीम जावेद ने गढ़ा।
खिलौने को फांसी दे दी गई लेकिन खिलौना बनाने वाले को पाकिस्तान में उसकी मौत की नमाज पढ़ने खुला छोड़ दिया।
उन्होंने इस पर सफाई देते हुए कहा कि मेरा मानना है कि एंग्री यंग मैन की छवि को सत्तर के दशक में सीमित क्यों कर दिया गया और फिर अमिताभ को ही एंग्री यंग मैन क्यों कहा गया। क्या 74 वर्षीय अन्ना हजारे को हम भूल गए। तब से ज्यादा गुस्सा तो आज है। (भाषा)